Thursday

May 22, 2025 Vol 20

बद्रीनाथ धाम के कपाट खुले, भव्य फूलों की सजावट और भक्ति संगीत ने बढ़ाया माहौल का दिव्य आकर्षण

बद्रीनाथ धाम के कपाट खुले, भव्य फूलों की सजावट और भक्ति संगीत ने बढ़ाया माहौल का दिव्य आकर्षण

 उत्तराखंड, 4 मई: छह महीनों की सर्दियों की तपस्या के बाद बद्रीनाथ धाम एक बार फिर श्रद्धालुओं के स्वागत के लिए खुल गया है। भगवान विष्णु को समर्पित यह मंदिर आज प्रातः 6 बजे वैदिक मंत्रोच्चार और पवित्र रीति-रिवाजों के साथ खोला गया। कपाट खुलने के इस पावन अवसर पर तीर्थ नगरी भक्ति और उल्लास में डूबी रही।

बद्रीनाथ मंदिर को इस बार विशेष रूप से सजाया गया है। करीब 15 टन फूलों से मंदिर को सजाया गया, जिसमें गेंदा, गुलाब, लिली, डेलिया और कई अन्य रंग-बिरंगे फूल शामिल रहे। फूलों की महक और उनकी खूबसूरती ने श्रद्धालुओं का मन मोह लिया। इस अनुपम दृश्य ने न केवल वहां मौजूद श्रद्धालुओं को, बल्कि देशभर में बैठे भक्तों को भी आध्यात्मिक ऊर्जा से भर दिया।

मंदिर परिसर में भारतीय सेना की ओर से भक्ति संगीत की प्रस्तुति दी गई, जिससे वातावरण और भी आध्यात्मिक और भावुक हो उठा। सेना के इस योगदान को श्रद्धालुओं और स्थानीय लोगों ने बड़े गर्व और श्रद्धा से सराहा।

श्रद्धालु इस पावन दिन का बेसब्री से इंतजार कर रहे थे, क्योंकि बद्रीनाथ के कपाट हर साल नवंबर में भारी बर्फबारी के चलते बंद कर दिए जाते हैं और मई में पुनः खोले जाते हैं। मंदिर खुलने के साथ ही चारधाम यात्रा के प्रमुख पड़ावों में से एक, बद्रीनाथ यात्रा भी विधिवत रूप से शुरू हो गई है।

सुरक्षा और व्यवस्था को लेकर प्रशासन पूरी तरह सतर्क है। तीर्थ यात्रियों की सुविधा के लिए स्वास्थ्य शिविर, भंडारा, और ठहरने की व्यवस्था पहले से की गई है। मौसम भी आज यात्रा के लिए अनुकूल रहा, जिससे हजारों श्रद्धालुओं ने कपाट खुलने का साक्षात दर्शन किया।

बद्रीनाथ मंदिर के कपाट खुलने के साथ ही उत्तराखंड की धार्मिक यात्रा सीजन ने रफ्तार पकड़ ली है। अब केदारनाथ, गंगोत्री और यमुनोत्री धामों के कपाट भी खुल चुके हैं, और श्रद्धालु पूरे उत्साह के साथ चारधाम यात्रा में जुट चुके हैं।

 

बद्रीनाथ धाम के कपाट खुले, भव्य फूलों की सजावट और भक्ति संगीत ने बढ़ाया माहौल का दिव्य आकर्षण

 उत्तराखंड, 4 मई: छह महीनों की सर्दियों की तपस्या के बाद बद्रीनाथ धाम एक बार फिर श्रद्धालुओं के स्वागत के लिए खुल गया है। भगवान विष्णु को समर्पित यह मंदिर आज प्रातः 6 बजे वैदिक मंत्रोच्चार और पवित्र रीति-रिवाजों के साथ खोला गया। कपाट खुलने के इस पावन अवसर पर तीर्थ नगरी भक्ति और उल्लास में डूबी रही।

बद्रीनाथ मंदिर को इस बार विशेष रूप से सजाया गया है। करीब 15 टन फूलों से मंदिर को सजाया गया, जिसमें गेंदा, गुलाब, लिली, डेलिया और कई अन्य रंग-बिरंगे फूल शामिल रहे। फूलों की महक और उनकी खूबसूरती ने श्रद्धालुओं का मन मोह लिया। इस अनुपम दृश्य ने न केवल वहां मौजूद श्रद्धालुओं को, बल्कि देशभर में बैठे भक्तों को भी आध्यात्मिक ऊर्जा से भर दिया।

मंदिर परिसर में भारतीय सेना की ओर से भक्ति संगीत की प्रस्तुति दी गई, जिससे वातावरण और भी आध्यात्मिक और भावुक हो उठा। सेना के इस योगदान को श्रद्धालुओं और स्थानीय लोगों ने बड़े गर्व और श्रद्धा से सराहा।

श्रद्धालु इस पावन दिन का बेसब्री से इंतजार कर रहे थे, क्योंकि बद्रीनाथ के कपाट हर साल नवंबर में भारी बर्फबारी के चलते बंद कर दिए जाते हैं और मई में पुनः खोले जाते हैं। मंदिर खुलने के साथ ही चारधाम यात्रा के प्रमुख पड़ावों में से एक, बद्रीनाथ यात्रा भी विधिवत रूप से शुरू हो गई है।

सुरक्षा और व्यवस्था को लेकर प्रशासन पूरी तरह सतर्क है। तीर्थ यात्रियों की सुविधा के लिए स्वास्थ्य शिविर, भंडारा, और ठहरने की व्यवस्था पहले से की गई है। मौसम भी आज यात्रा के लिए अनुकूल रहा, जिससे हजारों श्रद्धालुओं ने कपाट खुलने का साक्षात दर्शन किया।

बद्रीनाथ मंदिर के कपाट खुलने के साथ ही उत्तराखंड की धार्मिक यात्रा सीजन ने रफ्तार पकड़ ली है। अब केदारनाथ, गंगोत्री और यमुनोत्री धामों के कपाट भी खुल चुके हैं, और श्रद्धालु पूरे उत्साह के साथ चारधाम यात्रा में जुट चुके हैं।

 

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