
सुरक्षित दवा, सुरक्षित जीवन: उत्तराखंड में औचक निरीक्षण से मेडिकल स्टोर संचालकों में हड़कंप
देहरादून :– उत्तराखंड राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण के निर्देशों पर प्रदेशभर में “सुरक्षित दवा और सुरक्षित जीवन” अभियान के तहत मेडिकल स्टोर्स की कड़ी जांच की जा रही है। इसी क्रम में आज जिला विधिक सेवा प्राधिकरण, ड्रग एंड फूड विभाग और विजिलेंस टीम ने संयुक्त रूप से विभिन्न मेडिकल स्टोर्स का औचक निरीक्षण किया, जिससे मेडिकल संचालकों में हड़कंप मच गया।
औचक निरीक्षण से फैली हलचल
टीम ने सबसे पहले केंद्रीय औषधि भंडार का निरीक्षण किया, जहां से सभी सरकारी अस्पतालों को दवाइयों की आपूर्ति होती है। यहां दवाओं के भंडारण और उनकी गुणवत्ता की जांच की गई। टीम ने यह सुनिश्चित किया कि दवाएं सही तापमान पर रखी जा रही हैं और उनके रखरखाव में कोई लापरवाही नहीं बरती जा रही।
इसके अलावा, निजी मेडिकल स्टोर्स पर भी विशेष ध्यान दिया गया। टीम ने स्टोर्स में रखी एक्सपायरी दवाओं की जांच की और यह देखा कि कहीं पुरानी या अनधिकृत दवाएं तो नहीं बेची जा रही हैं। दवाओं को स्टोर करने के लिए इस्तेमाल किए जा रहे फ्रीजर और रेफ्रिजरेटर का टेंपरेचर भी मापा गया ताकि तापमान-संवेदनशील दवाएं सुरक्षित रह सकें।
लाइसेंस की भी हुई जांच
निरीक्षण के दौरान मेडिकल स्टोर्स के लाइसेंस और दस्तावेजों की भी जांच की गई। जिन स्टोर्स में अनियमितताएं पाई गईं, उन्हें आवश्यक निर्देश जारी किए गए।
मेडिकल संचालकों में मचा हड़कंप
निरीक्षण टीम के अचानक पहुंचने से मेडिकल स्टोर संचालकों में अफरा-तफरी का माहौल बना रहा। कुछ स्टोर्स पर गड़बड़ियां मिलने पर टीम ने उन्हें सुधारने की हिदायत दी, जबकि कुछ मामलों में कड़ी कार्रवाई की चेतावनी भी दी गई।
अधिकारियों का बयान
सीमा डूंगराकोटी (सिविल जज एवं सचिव, DLSA) ने कहा,
“यह अभियान लोगों को सुरक्षित और सही दवाएं उपलब्ध कराने के लिए चलाया जा रहा है। मेडिकल स्टोर्स को कानून का पालन करना होगा, अन्यथा सख्त कार्रवाई की जाएगी।”
निष्कर्ष
“सुरक्षित दवा, सुरक्षित जीवन” अभियान के तहत चल रहे इस निरीक्षण अभियान से मेडिकल स्टोर्स की कार्यप्रणाली में सुधार आने की उम्मीद है। प्रशासन की यह सख्ती निश्चित रूप से मरीजों तक गुणवत्तापूर्ण और सुरक्षित दवाएं पहुंचाने में मददगार साबित होगी।