हरिद्वार: रावसन खनन क्षेत्र को नहीं मिला प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड से अनुमति, सीसीए आवेदन खारिज
हरिद्वार, जून 2025
उत्तराखंड प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (UKPCB) ने रावसन-1 खनन क्षेत्र, जिला हरिद्वार में संचालित इकाई को झटका देते हुए उसका संयुक्त स्वीकृति और प्राधिकरण (CCA) आवेदन खारिज कर दिया है। यह निर्णय जल (प्रदूषण निवारण एवं नियंत्रण) अधिनियम, 1974; वायु (प्रदूषण निवारण एवं नियंत्रण) अधिनियम, 1981; तथा खतरनाक एवं अन्य अपशिष्ट (प्रबंधन एवं सीमा पार आवागमन) नियम, 2016 के तहत लिया गया है।
क्या है मामला:
उत्तराखंड वन विकास निगम द्वारा रावसन-1 खनन क्षेत्र, गांव गैंदिखाता, नजीबाबाद रोड, हरिद्वार में संचालन के लिए CCA (Consolidated Consent and Authorization) हेतु आवेदन 29 अगस्त 2023 को किया गया था। इसके बाद 25 अक्टूबर 2023 को क्षेत्रीय कार्यालय द्वारा निरीक्षण किया गया था।
आवेदन खारिज करने का कारण:
बोर्ड ने यह स्पष्ट किया कि इकाई ने समय-समय पर इस कार्यालय द्वारा उठाए गए प्रश्नों का कोई उत्तर नहीं दिया। इस लापरवाही के चलते आवेदन को अस्वीकार कर दिया गया है। बोर्ड का कहना है कि जनहित को ध्यान में रखते हुए उन्हें घरेलू/व्यावसायिक अपशिष्ट, वायु उत्सर्जन एवं खतरनाक अपशिष्टों के निस्तारण हेतु अनुमति नहीं दी जा सकती।
आगे क्या:
बोर्ड ने निर्देश दिए हैं कि इकाई को 30 दिनों के भीतर सभी त्रुटियों को सुधारना होगा और एक नया आवेदन OCMMS पोर्टल के माध्यम से जमा करना होगा, जिसमें प्रारंभिक शुल्क, आवश्यक बैंक गारंटी और सभी बिंदुओं का अनुपालन शामिल हो। यदि दोबारा भी CCA अस्वीकृत होती है तो बैंक गारंटी जब्त कर ली जाएगी।
अनुपालन न करने पर होगी सख्त कार्यवाही:
यदि निर्दिष्ट समय सीमा के भीतर सुधार नहीं किए गए, तो जल अधिनियम की धारा 33(ए) एवं वायु अधिनियम की धारा 31(ए) के तहत इकाई के विरुद्ध कार्रवाई की जाएगी। इसमें इकाई को बंद करने, संचालन पर प्रतिबंध लगाने, बिजली-पानी जैसी आवश्यक सेवाओं की आपूर्ति रोकने जैसी कठोर कार्रवाई शामिल हो सकती है।
यह आदेश डॉ. पराग मधुकर धाकटे, सदस्य सचिव, उत्तराखंड प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड द्वारा 10 जून 2025 को डिजिटल हस्ताक्षरित किया गया है।