भारत ने दो आम दवाओं पर चेतावनी जारी की
मरीजों और डॉक्टरों को सतर्क रहने की अपील
नई दिल्ली। भारत के दवा सुरक्षा प्राधिकरण ने दो आमतौर पर दी जाने वाली दवाओं – ट्रैनेक्सैमिक एसिड और मेटोक्लोप्रमाइड – पर सुरक्षा अलर्ट जारी किया है। इसका मतलब है कि इन दवाओं से कुछ मरीजों को गंभीर साइड इफेक्ट हो सकते हैं।
भारतीय फार्माकोपिया आयोग (IPC) ने कहा है कि मरीज और डॉक्टर दोनों इन दवाओं का इस्तेमाल करते समय सावधान रहें और अगर कोई दिक्कत दिखे तो तुरंत रिपोर्ट करें।
कौन-सी दवाएं हैं और क्या खतरा है?
- ट्रैनेक्सैमिक एसिड
- यह दवा खून बहने से रोकने के लिए दी जाती है, जैसे – ज्यादा मासिक धर्म, नाक से खून आना या सर्जरी के बाद।
- रिपोर्ट में पाया गया कि यह दवा नाक बंद होने की समस्या पैदा कर सकती है।
- मेटोक्लोप्रमाइड
- इसका इस्तेमाल मतली, उल्टी और पेट की गड़बड़ी में होता है।
- अलर्ट में बताया गया कि इससे तेज़ धड़कन (टैकीकार्डिया) हो सकती है।
- यह समस्या गंभीर भी हो सकती है और समय रहते ध्यान न देने पर हार्ट अटैक या स्ट्रोक का खतरा बढ़ सकता है।
क्यों जारी हुआ अलर्ट?
देश में चल रहे फार्माकोविजिलेंस प्रोग्राम के तहत अगस्त महीने में इन दोनों दवाओं पर कई शिकायतें मिलीं। इन्हीं रिपोर्टों के आधार पर सरकार ने अलर्ट जारी किया है।
मरीजों और डॉक्टरों के लिए सलाह
- मरीज अगर इन दवाओं का इस्तेमाल कर रहे हैं और कोई अजीब लक्षण दिखे तो तुरंत डॉक्टर से संपर्क करें।
- डॉक्टर मरीज को दवा लिखते समय साइड इफेक्ट्स के बारे में जरूर बताएं।
- फार्मासिस्ट बिना पर्चे के इन दवाओं की बिक्री से बचें।
- किसी भी दुष्प्रभाव की रिपोर्ट IPC की हेल्पलाइन या ऑनलाइन पोर्टल पर करें।
बड़ी तस्वीर
दवा सुरक्षा को लेकर सरकार लगातार निगरानी कर रही है। जनवरी 2025 तक ही 15 हज़ार से ज्यादा साइड इफेक्ट रिपोर्टें दर्ज हो चुकी हैं। अधिकारियों का कहना है कि ऐसी चेतावनियां दवा बाजार और आम मरीज दोनों के लिए जरूरी हैं, ताकि इलाज सुरक्षित रहे।
साफ है कि दवा चाहे कितनी भी आम क्यों न हो, बिना सतर्कता के उसका इस्तेमाल नुकसान पहुंचा सकता है। यही वजह है कि सरकार ने अब जनता और डॉक्टरों दोनों को सावधान किया है।